
आईएमए का कहना है कि अगर सीबीआई इस मामले को प्रभावी ढंग से नहीं संभाल सकती है तो उसे यह मामला राज्य सरकार को सौंप देना चाहिए।
आईएमए ने सीबीआई कार्यालय में अपने पांच सदस्यों को जाने की अनुमति मांगी थी, लेकिन सीबीआई ने केवल तीन सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल को ही अनुमति दी। इस प्रतिनिधिमंडल ने सीबीआई को एक ज्ञापन सौंपा।
आईएमए का मानना है कि इस मामले में तेजी से कार्रवाई होनी चाहिए और दोषियों को कड़ी सजा मिलनी चाहिए। आईएमए ने कहा कि आरजी कर मेडिकल कॉलेज में छात्रों के साथ जो हुआ है वह बेहद दुखद है और दोषियों को बख्शा नहीं जाना चाहिए।