Supreme Court India
संसद में लंबी बहस और विरोध के बाद राष्ट्रपति की मंजूरी, अधिसूचना जारी होने के साथ पूरे देश में लागू
सरकार की ओर से जारी एक अधिसूचना के मुताबिक वक्फ (संशोधन) कानून 2025 अब 8 अप्रैल से देशभर में प्रभावी हो गया है। इस नए कानून को संसद में पेश किए जाने के बाद व्यापक बहस और कई विरोधों का सामना करना पड़ा, लेकिन अंततः यह दोनों सदनों से पारित हो गया और 5 अप्रैल को राष्ट्रपति की मंजूरी मिलने के बाद इसे अधिसूचित कर दिया गया।
संशोधित कानून का उद्देश्य वक्फ संपत्तियों के प्रबंधन को अधिक पारदर्शी और जवाबदेह बनाना है। इसमें कई अहम बदलाव किए गए हैं, जिनमें वक्फ बोर्डों की जवाबदेही बढ़ाना, संपत्ति से जुड़े मामलों में पारदर्शिता लाना और महिलाओं को वक्फ बोर्डों में प्रतिनिधित्व देना प्रमुख है।
कानून के तहत अब वक्फ संपत्तियों की ऑनलाइन निगरानी की व्यवस्था की जाएगी और किसी भी प्रकार की हेराफेरी या अतिक्रमण पर त्वरित कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी। इसके अतिरिक्त, वक्फ बोर्डों को सामाजिक और शैक्षणिक परियोजनाओं में ज्यादा सक्रिय भूमिका निभाने का भी प्रावधान किया गया है।
एक बड़ा बदलाव यह है कि वक्फ बोर्डों में अब महिलाओं की भागीदारी अनिवार्य कर दी गई है, जिससे मुस्लिम महिलाओं को भी समुदाय के फैसलों में भूमिका मिल सकेगी। यह कदम मुस्लिम महिला संगठनों द्वारा लंबे समय से की जा रही मांग के बाद लिया गया है।
हालांकि कुछ संगठनों और विपक्षी दलों ने कानून के कुछ प्रावधानों पर आपत्ति जताई है, उनका कहना है कि कुछ धाराएं समुदाय के अधिकारों को सीमित कर सकती हैं। वहीं, सरकार ने दावा किया है कि यह संशोधन मुस्लिम समाज के हित में है और इससे वक्फ संपत्तियों का सही उपयोग सुनिश्चित किया जा सकेगा।
नए कानून के लागू होने के साथ ही देशभर के वक्फ बोर्डों को इसकी तर्ज पर अपने कार्यकलापों को दुरुस्त करने के निर्देश जारी कर दिए गए हैं। इससे जुड़ी प्रक्रियाएं जल्द ही राज्यों में भी शुरू की जाएंगी।